प्रधानमंत्री को पत्र भेजकर जोशीमठ की गिनाई खूबियां, आपदा का भी किया जिक्र, कहा जोशीमठ को अलग-थलग करने का किया जा रहा प्रयास–
गोपेश्वर: बद्रीनाथ विधायक राजेंद्र भंडारी ने प्रधानमंत्री को पत्र भेजकर आध्यात्मिक, ऐतिहासिक, धार्मिक, सांस्कृतिक, पर्यटन नगरी तथा सामरिक दृष्टि से अति महत्वपूर्ण जोशीमठ नगर को अलग-थलग करने की मंशा से बनाए जा रहे हैं हेलंग-मारवाड़ी बाईपास मार्ग के निर्माण कार्य पर रोक लगाने का आग्रह किया है। विधायक ने कहा कि जोशीमठ नगर वर्तमान में आपदा के दंश से पीड़ित है,
आपदा के कारण यहां के निवासियों का आर्थिक तौर पर व्यापक नुकसान हुआ है। जोशीमठ नगर आदि जगतगुरु शंकराचार्य भगवान की तपस्थली होने के कारण हजारों वर्षों से सनातन धर्म की हृदय स्थली रहा है, इस नगर का अपना आध्यात्मिक, धार्मिक, सांस्कृतिक तथा ऐतिहासिक महत्व है। पूर्व में कत्यूरी वंश के राजाओं की राजधानी होने के कारण इस नगर का व्यापक राजनीतिक महत्व भी रहा है। यह नगर सीमांत क्षेत्र होने के कारण इसका अपना प्रबल सामरिक महत्व भी है।
सदियों से बद्रीनाथ धाम, हेमकुंड साहिब, विश्व प्रसिद्ध फूलों की घाटी और हिम क्रीड़ा स्थली औली का भी मुख्य पड़ाव जोशीमठ नगर है। जोशीमठ से 13 किलोमीटर पहले प्रस्तावित मारवाड़ी बाईपास मार्ग जोशीमठ को अलग-थलग कर देगा। साथ ही आपदा से पीड़ितों को बहुत बड़ी आर्थिक क्षति पहुंचेगी तथा सदियों से बसी बसाई आध्यात्मिक, धार्मिक, पौराणिक व ऐतिहासिक पर्यटन नगरी अलग-थलग पड़ जाएगी।
यात्रा को सुगम बनाए जाने की दृष्टि से नगर के मुख्य मार्ग जैसे राष्ट्रीय राजमार्ग टीसीपी मुख्य बाजार से मारवाड़ी पुल तक टीसीपी से गैस गोदाम तक (मलारी बॉर्डर राष्ट्रीय राजमार्ग) और जोशीमठ तिराहे से नरसिंह मंदिर पेट्रोल पंप तक मार्ग का सुधारीकरण व चौड़ीकरण कार्य करने से यातायात को सुगम बनाया जा सकता है। साथ ही बॉर्डर पर आने वाले सैन्य प्रयोजन के लिए भी मार्ग सुगम होगा।