विश्व सांस्कृतिक धरोहर रम्माण का हर वर्ष बैशाख माह में होता है भव्य आयोजन, अनूठी है यह धार्मिक परंपरा–
जोशीमठ, 11 अप्रैल 2025: सांस्कृतिक और पर्यटन ग्राम सलूड़-डुंग्रा में विश्व सांस्कृतिक धरोहर रम्माण मेले के आयोजन की धार्मिक प्रक्रियाएं शुरु होे गई हैं। बैसाखी पर्व पर पुरोहितगण मेले की तिथि निर्धारित करेंगे।
सलूड़ डुंग्रा गांव में हर साल रम्माण मेला बड़े हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है। रम्माण के समापन पर हर साल पंचों द्वारा तय व्यक्ति के घर पर भूमियाल देवता के निशान रखे जाते हैं। बैशाखी के दिन धार्मिक कार्यक्रमों के दौरान गाजे बाजे के साथ भूमियाल देवता के निशान अपने मूल मंदिर में प्रवेश करते हैं।
बृहस्पतिवार को गांव में मेले को लेकर तीन दिवसीय धार्मिक अनुष्ठान शुरू हो गया है। जिस परिवार के यहां भूमियाल देवता एक साल से निवास कर रहे हैं वहां पर पंच पुरोहितों ने भूमियाल देवता का पाठ आरंभ कर दिया है।
रम्माण मेले के संरक्षक डॉ. कुशल सिंह भंडारी ने बताया कि बैशाखी पर्व पर भूमियाल देवता के निशान ढोल दमाऊ के साथ गांव में स्थित अपने मूल मंदिर में प्रवेश करेंगे। जिसके बाद पंच पुरोहित रम्माण मेले की तिथि घोषित करेंगे। उन्होंने बताया कि मेले को दिव्य व भव्य रूप से मनाया जाएगा।