चमोली: चमोली जनपद में सड़क ने तोड़ा इन दो गांवों का सामाजिक तानाबाना, हुक्का पानी बंद–

by | May 28, 2025 | चमोली, ब्रेकिंग | 0 comments

कारगिल शहीद भरत सिंह के नाम पर वर्ष 2012-13 में सीएम घोषणा में स्वीकृत है सड़क, एक गांव पानी तो दूसरा नहीं दे रहा सड़क के लिए अपनी भूमि–

गोपेश्वर, 28 मई 2025: ग्रामीण क्षेत्रों में सड़क निर्माण अब सामाजिक तानेबाने को भी बिगाड़ रही है। चमोली जनपद के दो गांवों में सड़क के विवाद ने खाई पैदा कर दी है। एक ही ग्राम पंचायत के दो गांव अब सड़क निर्माण को लेकर आमने सामने आ गए हैं। दशोली ब्लॉक के चटंग्याला के ग्रामीणों ने आम बैठक में बांतोली पर सड़क निर्माण में बाधा डालने का आरोप लगाते हुए उनसे सभी तरह के संबंध खत्म करने का निर्णय लिया है।

ग्राम पंचायत बांतोली के चटंग्याला गांव निवासी कारगिल शहीद भरत सिंह रावत के नाम से 2012-13 में तत्कालीन मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा ने सड़क की घोषणा की थी। सड़क का निर्माण 7 किलोमीटर तक होना है। तेफना से बांतोली होते हुए चटंग्याला से आगे कंडारा तक सड़क का निर्माणा होना है। बांतोली तक तो सड़क का निर्माण हो चुका है। वहां से आगे चटंग्याला तक सड़क को लेकर विवाद चल रहा है।

चटंग्याला के ग्रामीणों का आरोप है कि बांतोली के लोग सड़क निर्माण में अपने खेत देने के लिए तैयार नहीं हैं। जबकि इस सड़क में अधिकांश खेत चटंग्याला के लोगों के कटने हैं, कुछ खेत ही बांतोली के लोगों के कटेंगे। लेकिन वे इसके लिए तैयार नहीं हैं, जिससे आज भी कारगिल शहीद भरत सिंह रावत का गांव सड़क से वंचित है।

मंगलवार को चटंग्याला गांव में ग्रामीणों की सार्वजनिक बैठक हुई। बैठक में पूर्व ग्राम प्रधान दिनेश सिं हरावत, पान सिंह रावत, जितेंद्र सिंह, कविता देवी, संगीता, सीमा देवी, पुष्पा देवी, कांता देवी, सावित्री देवी, सोबती देवी, आशा सहित अन्य ग्रामीण शामिल रहे। बैठक में सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया कि यदि बांतोली के लोग सड़क नहीं आने दे रहे हैं तो हम उनसे किसी तरह का कोई संबंध नहीं रखेंगे।

ग्रामीणों ने निर्णय लिया कि चटंग्याला का कोई भी व्यक्ति बांतोली से किसी तरह का संबंध नहीं रखेगा। उनके किसी भी कार्यों में शामिल नहीं होंगे। कोई उनसे संबंध रखेगा तो गांव वाले उसका भी बहिष्कार कर देंगे। साथ ही बांतोली के ग्रामीण उनके गांव की सीमा में काश्तकारी भी नहीं करेंगे।

इधर, बांतोली गांव के ग्राम प्रधान/प्रशासक विनोद रावत का कहना है कि चटंग्याला के ग्रामीणों ने उनकी पेयजल लाइन तोड़ दी, उन्होंने प्लास्टिक के पाइप भी लगाए लेकिन उनको भी उखाड़ दिया गया। इसी के चलते गांव के लोगों में नाराजी है। यदि चटंग्याला के लोग पानी आने देंगे तो हमें सड़क बनाने में कोई आपत्ति नहीं होगी।

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