पीपलकोटी। हाट भूमि अधिग्रहण करने और ग्रामीणों को मुआवजा वितरित करने की बात कहकर टीएचडीसी अपना पल्ला नहीं झाड़ सकती है। हाट गांव प्राचीन समय से ही आध्यात्मिक क्षेत्र रहा है। यहां आज भी देवताओं का वास है। टीएचडीसी ग्रामीणों की मांगों पर ठोस कार्रवाई करे। यह बात बदरीनाथ विधायक महेंद्र भट्ट ने हाट गांव में आयोजित टीएचडीसी और ग्रामीणों की बैठक की मध्यस्थता करते हुए बोली। विधायक ने कहा कि ग्रामीणों की मांगों को मुख्यमंत्री के सम्मुख भी रखा गया है। उन्होंने कहा कि जिस जगह पर हाट गांव का पुनर्वास किया जा रहा है। वहां सड़क व अन्य मूलभूत सुविधाएं भी मुहैया कराना टीएचडीसी का काम है। विधायक ने टीएचडीसी और प्रशासन की ओर से बिना ग्रामीणों को बताए उनके मकानों के ध्वस्तीकरण पर भी नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि जब ग्रामीणों ने अपनी मांगों पर सकारात्मक कार्रवाई के बाद ही ध्वस्तीकरण की कार्रवाई करने की मांग की थी, तो उनकी सुनी क्यों नहीं गई। कहा कि हाट गांव में भूमि अधिग्रहित हो गई थी और मकानों का ध्वस्तीकरण भी कानूनन होना ही था, लेकिन इससे पहले ग्रामीणों की भी सुनीं जानी चाहिए थी। विधायक ने कहा कि अब गांव का ध्वस्तीकरण करने के बाद टीएचडीसी अपना पल्ला नहीं झाड़ सकती। ग्रामीणों की मांगों पर शीघ्र कार्रवाई करने के निर्देश मौके पर मौजूद टीएचडीसी के अधिकारियों को दिए गए। बैठक में ग्राम प्रधान राजेंद्र हटवाल भावुक हो गए। उन्होंने कहा कि पितर पक्ष में टीएचडीसी और प्रशासन की ओर से की गई कार्रवाई बर्बरतापूर्ण है। टीएचडीसी के खिलाफ ग्रामीणों की लड़ाई जारी रहेगी। विधायक ने गांव में हुए मकानों के ध्वस्तीकरण का निरीक्षण भी किया। इस मौके पर ज्येष्ठ प्रमुख पंकज हटवाल युवक मंगल दल अध्यक्ष अमित गैरोला आदि मौजूद थे।